reenakari
Search This Blog
Thursday, March 10, 2011
reenakari: जैसे चाँद से चांदनी रूठ कर चले
reenakari: जैसे चाँद से चांदनी रूठ कर चले
: " आजाता है जीकर उनका हर बार कुछ इस तरहां , उनका जीकर भी ना करू ,आजाता&nbs..."
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment